अरब सागर को पिछले 10 दिनों से मथ रहा प्रचंड चक्रवात बिपर्जय गुरुवार शाम 4.30 बजे गुजरात के कच्छ जिले में स्थित जखाऊ पोर्ट के पास तट से टकरा गया। अब यह भूमि पर आगे बढ़ रहा है।
इसके प्रभाव से तेज हवा और भारी वर्षा ने कच्छ और सौराष्ट्र को बुरी तरह प्रभावित किया है। तेज हवा के कारण कई जगह पेड़, होर्डिंग्स और बिजली के खंभे उखड़ गए और घरों के ऊपर से टीन शेड उड़ गए। कई इलाके अंधेरे में डूब गए।
तूफान की वजह से 22 लोग घायल
चक्रवाती तूफान बिपरजॉय ने गुरुवार शाम गुजरात के कच्छ जिले में स्थित जखाऊ पोर्ट के पास तट के जरिए भारत में दस्तक दी। इस तूफान की वजह से गुजरात के कई जिलें बुरी तरह से प्रभावित हो चुके हैं। गुजरात के कई जिलों में भारी बारिश हो रही है।
जानकारी के मुताबिक, तूफान की वजह से 22 लोग घायल हैं। तेज हवा और भारी वर्षा ने कच्छ और सौराष्ट्र को बुरी तरह प्रभावित किया है। तेज हवा के कारण कई जगह पेड़, होर्डिंग्स और बिजली के खंभे उखड़ गए और घरों के ऊपर से टीन शेड उड़ गए। कई इलाके अंधेरे में डूब गए।
राजस्थान में अलर्ट जारी
गुजरात के बाद तूफान अब राजस्थान की ओर बढ़ चुका है। तूफान की वजह से राजस्थान के कई इलाकों में भारी बारिश हो रही है। राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत ने कहा कि चक्रवात बिपरजॉय को लेकर मैंने अधिकारियों के साथ बैठक की है। सारी टीमें अलर्ट पर हैं।
आपदा प्रबंधन के संबंधित अधिकारी मौके पर तैनात हैं। राज्य सरकार की ओर से चेतावनी और दिशा-निर्देश जारी किए जा रहे हैं। हम चक्रवात पर निगरानी रख रहे हैं।
आपदा प्रबंधन की 27 टीमें सक्रिय
अधिकारियों ने बताया कि राहत एवं बचाव कार्यों के लिए एनडीआरएफ की 15 टीमें, एसडीआरएफ की 12 टीमें और सेना, नौसेना, वायुसेना, भारतीय तटरक्षक बल और व सीमा सुरक्षा बल के जवानों को तैनात किया गया है।
पहले से ही 15 जहाज एवं एन-32 समेत सात एयरक्राफ्ट तैयार रखे गए हैं। 16 जून तक व्यावसायिक उड़ानें बंद रहेंगी। सिर्फ आपातकालीन और राहत उड़ानों को ही अनुमति है। केंद्र सरकार के अधिकारी भी रातभर राज्य से इनपुट लेते रहे।
सुबह से पड़ेगा कमजोर
आइएमडी का अनुमान है कि शुक्रवार सुबह लगभग आठ बजे चक्रवाती हवा की गति धीमी पड़ने लगेगी। हालांकि वर्षा तब भी जारी रहेगी। धीरे-धीरे चक्रवात की स्थिति पश्चिम की ओर खिसकती जाएगी।
राजस्थान के सीमावर्ती जिलों में भी तेज हवा के साथ वर्षा के चलते आंशिक तबाही देखी जा सकती है। 17 जून को भी चक्रवात के आगे बढ़ने के कारण राजस्थान के जिलों में 20 सेमी तक वर्षा हो सकती है।